कोई तुझे बरगलाये तो तुम खामोश हो जाना
कोई तुझे भड़काये तो तुम खामोश हो जाना
क्योंकि तुम्हारी ख़ामोशी ही उसे मात देगी
क्योंकि तुम्हारी ख़ामोशी ही नेगेटिव एनर्जी का नाश करेगी
ख़ामोशी ही मन के गहराइयों में सुकून की लहरें उठायेंगी.
–खामोश होने से खामोश हो जाता है तुम्हारा गुस्सा
खामोश होने से ख़ुशी का अहसास होता है
–
जब आँखे बंद हो
जब लब पे तले लगें हो
पालथी मार कर बैठे हो जैसे तुम
ध्यान की समाधि में तल्लीन हो.
–तब दिल से निकल कर विचारें मन में तैरने लगती है
सूरज की रोशनी अन्दर प्रवेश कर जाती है
जो बेजान तंत्रिका कोशिकाओं में जान लाती है
जिससे पॉजिटिव एनर्जी का जन्म होता है
और मन हकीकत को महसूस करता है
_जब कोई चिलाये तो तुम खामोश हो जाना। आपने तंत्रिका कोशिकाओं को अपने बस में कर लेना
इससे तुम्हें बहुत शान्त मिलेगी। खामोशियों को धारणा कर लो मन को हिमालय बना देगी। खामोशियों से दोस्ती कर लो ये बड़ी काम की चिज हैं। कभी
बेइज्जती नहीं होने देंगी ये खामोशियों मेरी तेरी इसकी उसकी सबकी 😁🤪🤪🤪😬😬😬🤐
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